भारतीय न्याय संहिता की धारा 140 एक बहुत ही गंभीर अपराध से संबंधित है। यह धारा किसी व्यक्ति की हत्या करने, फिरौती मांगने या गंभीर चोट पहुँचाने के लिए अपहरण (Kidnapping) करने के अपराध से संबंधित है।
सरल भाषा में कहे, तो जब कोई व्यक्ति किसी अन्य व्यक्ति की हत्या करने, पैसे मांगने या किसी भी प्रकार की गंभीर चोट पहुंचाने के लिए उसका अपहरण करेगा। उस व्यक्ति पर BNS की धारा 140 व उसकी उपधाराओं (Sub-Sections) को लागू कर कार्यवाही की जा सकती है।
बीएनएस धारा 140 के अंदर अपहरण के अपराध के तरीकों को 4 अलग-अलग उपधाराओं के द्वारा बताया गया है, जो कि इस प्रकार है:-
- BNS Section 140 की उपधारा (1): इसके द्वारा बताया गया है कि आरोपी व्यक्ति (Accused Person) जब किसी व्यक्ति को जान से मारने या हत्या (Murder) करने के लिए अपहरण करता है, तो उस पर धारा 140(1)के तहत कार्यवाही की जाती है। यह एक बहुत ही गंभीर अपराध है और इसके दोषी (Guilty) व्यक्ति को बहुत ही कठोर सजा से दंडित किया जाता है।
- BNS Section 140 की उपधारा (2): इस कानून में किसी व्यक्ति को फिरौती यानी पैसे या किसी अन्य वस्तु की मांग के लिए जबरदस्ती अगवा (Kidnapped) करने के अपराध के बारे में बताया गया है। इसका मतलब यह है कि अगर कोई व्यक्ति किसी को पकड़कर ले जाता है। जिसके बाद उसे या उसके परिवार को धमकाता है कि अगर वे पैसे या कोई और चीज नहीं देते तो उन्हें नुकसान पहुंचाया जाएगा। ऐसे व्यक्ति पर बीएनएस की धारा 140 (2)के तहत मुकदमा चलाया जा सकता है।
- BNS Section 140 की उपधारा (3): किसी व्यक्ति को गुप्त और गलत तरीके से बंदी बनाने के इरादे (Intention) से उसका अपहरण करने के अपराध के बारे में धारा 140(3) के द्वारा बताया गया है। सरल भाषा में अगर कोई किसी को जबरदस्ती उठाकर ले जाता है और उसे किसी गुप्त जगह पर छुपाकर या बंदी बनाकर रखता है, तो उस व्यक्ति पर धारा 140(3) के तहत कार्यवाही की जाती है।
- BNS Section 140 (4) किसी व्यक्ति को गंभीर चोट (Serious Injury) पहुँचाने, गुलाम बनाने या गलत काम करने के इरादे से अपहरण करने के बारे में बताया गया है। इस कानून का उद्देश्य व्यक्तियों को अत्यधिक खतरे, शोषण या क्रूरता की स्थितियों में मजबूर होने से बचाना है।
भारतीय न्याय संहिता की धारा 140 की मुख्य बातें
- अपहरण या अगवा करना:- किसी व्यक्ति को जबरदस्ती कहीं उठाकर ले जाना या उसको बंदी बनाना।
- हत्या का इरादा: अपराधी का इरादा अपहरण के बाद व्यक्ति की हत्या करने का होना चाहिए।
- फिरौती के लिए रखना: अपराधी का इरादा अपहरण के बाद व्यक्ति को फिरौती (Ransom) के लिए बंदी बनाने का हो।
- गंभीर चोट पहुंचाना, गुलामी या यौन शोषण: धारा 140 में ऐसे मामलों को भी शामिल किया गया है जहां अपहरण का उद्देश्य व्यक्ति को गंभीर चोट पहुंचाना, गुलाम बनाना या यौन शोषण करना हो।
- दंड: इस अपराध के लिए दोषी व्यक्ति को कारावास या जुर्माने का कठोर दंड दिया जा सकता है।
कुछ ऐसे कार्य जिनको धारा 140 के तहत गंभीर अपराध माना जा सकता है
- किसी व्यक्ति को उसकी मर्जी के खिलाफ किसी जगह पर ले जाना।
- उस व्यक्ति को किसी ऐसे स्थान पर छिपाना जहां उसे आसानी से ढूंढा ना जा सके।
- किसी व्यक्ति को बंधी बनाकर उसे छोड़ने के लिए उसके परिवार वालो से पैसे या किसी अन्य कीमती चीज की मांग करना।
- किसी व्यक्ति को शारीरिक या मानसिक रूप से धमकाना ताकि वह अपनी मर्जी के खिलाफ कुछ करें।
- किसी व्यक्ति को कई दिनों तक भूखा या प्यासा रखना, यानी उसे खाने पीने के लिए कुछ भी नहीं देना।
- जबरदस्ती किसी को सोने यानी नींद पूरी करने से रोकना।
- जबरन किसी को उठाकर किसी ऐसे व्यक्ति को सौंप देना जिससे उसको खतरा हो।
इस धारा के अपराध का उदाहरण
साहिल और रवि नाम के दो व्यक्ति प्रोपर्टी का काम करते थे। साहिल एक बहुत ही अच्छा इंसान था और उसका काम रवि से बहुत ही अच्छा चल रहा था। जिसके कारण रवि उससे बहुत नफरत करता था और हमेशा उसे नुकसान पहुँचाने की सोचता रहता था। एक दिन रवि किसी की मदद से साहिल के बेटे को अगवा कर लेता है। जिसके बाद रवि साहिल को फोन करके, उसके बेटे को छोड़ने के लिए 1 करोड़ रुपये कि मांग करता है। साहिल के पैसे देने के लिए इतने पैसे नहीं होते, इसलिए वो रवि से कुछ दिन का समय मांगता है।
रवि साहिल के बेटे को कई दिनों तक ऐसे ही बंधक बनाकर, भूखा व प्यासा रखता है। ऐसे ही कई दिन गुजरने के बाद जब उसे साहिल से पैसे नहीं मिलते तो वो उसके बेटे की हत्या कर देता है। जिसके बाद साहिल की शिकायत पर पुलिस रवि को गिरफ्तार कर लेती है और BNS 140 के तहत उस पर आगे की कार्यवाही करती है।
बीएनएस धारा 140 में सजा – Punishment Of BNS 140 in Hindi
बीएनएस सेक्शन 140 में अपहरण के अपराध की सजा (Punishment) को इसकी उपधाराओं में अपराध की गंभीरता के आधार पर बताया गया है।
- धारा 140(1) की सजा:- किसी व्यक्ति की हत्या करने के लिए अगवा करने के दोषी पाये जाने वाले व्यक्ति को 10 वर्ष तक की कठोर कारावास (Rigorous Imprisonment), से लेकर आजीवन कारावास (Life Imprisonment) या जुर्माने से दंडित किया जा सकता है।
- धारा 140(2) की सजा:- फिरौती मांगने के लिए किसी व्यक्ति का अपहरण करने के दोषी व्यक्ति को बहुत ही सख्त सजा हो सकती है, जिसमें मौत की सजा या आजीवन कारावास भी शामिल है।
- धारा 140(3) की सजा:- अगर कोई व्यक्ति किसी को जबरदस्ती उठाकर ले जाता है और उसे किसी गुप्त जगह (Secret Place) छिपाकर रखने का अपराध करता है। ऐसे व्यक्ति को दोषी पाये जाने पर सात साल तक की कैद या जुर्माना या दोनों हो सकते हैं।
- धारा 140(4) की सजा:- जो कोई भी किसी व्यक्ति को गंभीर चोट पहुँचाने, गुलाम बनाने या उसके साथ कोई गलत कार्य करने के इरादे से अपहरण करता है, उसे दस साल तक की कैद व जुर्माने की सजा दी जा सकती है।